PM सूर्यघर ‘मुफ़्त बिजली’ योजना: अपनी छत से हर महीने 300 यूनिट तक बिजली बनाएं – जानिए पात्रता, सब्सिडी और आवेदन प्रक्रिया

बिजली का बिल हर महीने आपकी जेब पर बोझ बनता जा रहा है? अब सरकार लेकर आई है एक ऐसी योजना जिससे आप अपने घर की छत से हर महीने 300 यूनिट तक मुफ्त बिजली पा सकते हैं – वो भी बिना एक पैसा दिए! प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा शुरू की गई “प्रधानमंत्री सूर्यघर मुफ्त बिजली योजना” भारत के आम नागरिकों को आत्मनिर्भर बनाने की दिशा में एक बड़ा कदम है। इस योजना का मकसद है – हर घर को सौर ऊर्जा से जोड़ना और लोगों को बिजली बिल से राहत देना। आइए जानते हैं कि यह योजना क्या है, कैसे काम करती है, और आप कैसे इसका फायदा उठा सकते हैं।


क्या है प्रधानमंत्री सूर्यघर मुफ्त बिजली योजना?

यह योजना केंद्र सरकार द्वारा शुरू की गई है, जिसके तहत देश के करोड़ों घरों की छतों पर रूफटॉप सोलर सिस्टम लगवाया जाएगा। इसके ज़रिए घर के लोग खुद अपनी बिजली बना सकेंगे और हर महीने 300 और उससे अधिक यूनिट तक मुफ्त बिजली का फायदा उठा पाएंगे। सरकार इसके लिए सब्सिडी भी दे रही है।

योजना का मक़सद क्या है?

  • घरेलू बिजली बिल लगभग शून्य हो सकता है।
  • अतिरिक्त यूनिट ग्रिड को बेचकर पैसे भी कमाए जा सकते हैं।
  • देश के कार्बन उत्सर्जन में बड़ी कटौती होगी।

इस योजना के मुख्य फायदे

  • हर महीने 300 और उससे अधिक यूनिट तक मुफ्त बिजली
  • बिजली का बिल लगभग शून्य हो जाएगा
  • पूरी तरह सरकारी सहायता से सोलर सिस्टम इंस्टॉल
  • पर्यावरण के अनुकूल – ग्रीन एनर्जी का उपयोग
  • 10-25 साल तक चलने वाली टेक्नोलॉजी

कौन-कौन ले सकता है इस योजना का लाभ?

इस योजना का लाभ भारत के सभी परिवारों को दिया जा रहा है। इसके लिए आपकी कुछ शर्तें पूरी होनी चाहिए:

  • आपके घर की छत होनी चाहिए, जहां सोलर सिस्टम लगाया जा सके।
  • घर का बिजली कनेक्शन घरेलू श्रेणी (domestic) में होना चाहिए।
  • आपने पहले कभी रूफटॉप सोलर सब्सिडी का लाभ नहीं लिया हो।

कितनी लागत आती है और सरकार कितनी सब्सिडी देती है?

सरल भाषा में कहें तो:

सिस्टम साइजअनुमानित लागतसरकार की सब्सिडीउपभोक्ता को देना
1 kW₹65,000 तक₹30,000₹35,000 तक
2 kW₹1,30,000 तक₹60,000₹70,000 तक
3 kW₹1,90,000₹78,000₹1,12,000 तक
  • 3 kW से अधिक क्षमता वाला सोलर सिस्टम लगाने पर भी केंद्र सरकार की सब्सिडी अधिकतम ₹78,000 तक ही सीमित होती है।
    यह सब्सिडी “capped” है, यानी 3 kW से ऊपर कोई अतिरिक्त राशि नहीं दी जाती।
  • राज्य सरकारें भी सोलर सिस्टम पर अतिरिक्त सब्सिडी देती हैं, जो कि हर राज्य में अलग-अलग होती है।
  • उत्तर प्रदेश का उदाहरण लें, तो वहाँ सरकार ₹30,000 की सब्सिडी देती है।
  • ऐसे में अगर केंद्र (₹78,000) और राज्य ₹30,000 – दोनों की सब्सिडी मिले, तो कुल मिलाकर ₹1,08,000 तक की सब्सिडी का लाभ मिल सकता है।

हर महीने 300 यूनिट का मतलब क्या है?

  • 1 kW सोलर सिस्टम रोज़ 4–5 यूनिट बिजली बनाता है। यानी महीने में करीब 120–150 यूनिट।
  • 2–3 kW सिस्टम से 300 यूनिट तक बिजली आराम से बन सकती है, जो आम तौर पर एक परिवार की पूरी ज़रूरत को कवर कर लेती है।
  • इससे आपका बिजली का बिल जीरो हो सकता है – AC, फ्रीज, लाइट, पंखा, सब कुछ आराम से चलेगा।

  • आवेदन का स्टेप-बाय-स्टेप तरीक़ा
  1. पोर्टल पर रजिस्ट्रेशन: pmsuryaghar.gov.in खोलें, राज्य व DISCOM चुनें।
  2. डीलर चयन: पोर्टल पर सूचीबद्ध empanelled वेंडर में से किसी एक को चुनें।
  3. कोटेशन और लोन (वैकल्पिक): चाहें तो जनसमर्थ पोर्टल से कम-ब्याज सोलर लोन लें।
  4. इंस्टॉलेशन: DISCOM-अप्रूव्ड नेट मीटर के साथ 15-30 दिन में सिस्टम लग जाता है।
  5. सब्सिडी क्रेडिट: सफल निरीक्षण के बाद सब्सिडी सीधा बैंक खाते/लोन अकाउंट में आती है

  • बचत का छोटा हिसाब
विवरणआंकड़ा*
3 kW सिस्टम लागत~₹1.80 लाख
कुल सब्सिडी~₹1.08 लाख
नेट निवेश~₹72,000
मासिक बचत (बिल)~₹2,000-2,500
पेबैक पीरियड3-4 साल

  • अक्सर पूछे जाने वाले सवाल

Q. क्या फ्लैट में रहने वाले लोग भी योजना ले सकते हैं?
A. हाँ, यदि आपकी सोसाइटी ने GHS/RWA सब्सिडी क्लस्टर बनाया है।

Q. रात में बिजली कहाँ से आएगी?
A. ऑन-ग्रिड सिस्टम दिन में सोलर से चलता है; रात में ग्रिड से सपोर्ट लेता है।

Q. क्या बैटरी ज़रूरी है?
A. नहीं, योजना ऑन-ग्रिड मॉडल पर आधारित है; बैटरी वैकल्पिक है।


निष्कर्ष

PM सूर्यघर मुफ़्त बिजली योजना आम परिवारों को 3 kW तक सोलर लगवाकर हर महीने 300 यूनिट तक बिजली मुफ्त में पैदा करने का मौका देती है। ठीक प्लानिंग और भरोसेमंद इंस्टॉलर के साथ यह निवेश 25 साल तक राहत दे सकता है।

नोट: सब्सिडी दरें समय-समय पर बदल सकती हैं। आवेदन से पहले अपनी DISCOM व राज्य ऊर्जा विभाग की नवीनतम गाइडलाइन ज़रूर देखें और संदेह होने पर किसी मान्यता-प्राप्त सोलर सलाहकार से परामर्श लें।


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